स्तन गांठ के रोगियों को घरेलू नुस्खों के साथ बीमारी के असर को कम करने के लिए उचित जीवनशैली, संतुलित और पौष्टिक भोजन के साथ-साथ ही शराब, चीनी, वसा और लाल मांस का सेवन बंन्द करने की सलाह दी जाती है।
भारत में महिलाओं में स्तन कैंसर बहुत आम है। ऐसे में महिलाएं अपनी देखभाल करके और समय पर जांच करके ही इस कैंसर से बची रह सकती हैं। स्तन कैंसर से बचने के लिए महिलाएं समय-समय पर घर पर ही स्वयं स्तन गांठ जांच करें और शक होने पर बिना देर किए डॉक्टर को दिखाएं। ध्यान रहें, सतर्कता ही बीमारी का सही इलाज है।
जरूरी नहीं है कि हर स्तन गांठ कैंसर ही हो लेकिन संभावना कैंसर की हो सकती है इसलिए स्तन में गांठ को नज़रअंदाज़ करना सही नहीं हैं। स्तन गांठ के होने पर आप स्वयं स्तन जांच (self breast examination) करके स्तन या निप्पल में होने वाले परिवर्तनों को जान सकते हो। सामान्य परिवर्तन होने पर आप कुछ नुस्खों की मदद से स्तन गांठ का इलाज़ कर सकते है लेकिन कुछ भी असामान्य महसूस हो तो आपको डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
पत्ता गोभी ऐसी सब्जी है जिसे आमतौर पर लोग सलाद के रूप में खाते हैं लेकिन महिलाएं यदि पत्ता गोभी का सेवन करेंगी तो वे स्तन गांठ और ब्रेस्ट कैंसर जैसी घातक बीमारी से जूझने में सक्षम हो सकती हैं। कोल्ड कंप्रेस (cold compress) या गोभी के ठंडे पत्तों का उपयोग स्तन की सूजन और दर्द को कम करने में मदद करता है लेकिन साथ ही ये ब्रेस्ट मिल्क की सप्लाई को भी कम कर सकता है। ध्यान रहे पत्ता गोभी उपयोग करने के बाद अगर आप बेहतर महसूस कर रहे है और आपको सूजन कम लग रही है तो पत्ता गोभी का इस्तेमाल बंद कर दें।
पत्ता गोभी ऐसी सब्जी है जिसे आमतौर पर लोग सलाद के रूप में खाते हैं लेकिन महिलाएं यदि पत्ता गोभी का सेवन करेंगी तो वे स्तन गांठ और ब्रेस्ट कैंसर जैसी घातक बीमारी से जूझने में सक्षम हो सकती हैं। कोल्ड कंप्रेस (cold compress) या गोभी के ठंडे पत्तों का उपयोग स्तन की सूजन और दर्द को कम करने में मदद करता है लेकिन साथ ही ये ब्रेस्ट मिल्क की सप्लाई को भी कम कर सकता है। ध्यान रहे पत्ता गोभी उपयोग करने के बाद अगर आप बेहतर महसूस कर रहे है और आपको सूजन कम लग रही है तो पत्ता गोभी का इस्तेमाल बंद कर दें।